

यमकेश्वर 20 मार्च
गजेंद्र सिंह
पंरदा पंपिंग योजना से जुड़े हुए यमकेश्वर के 12 गांवों के ग्रामीण पिछले तीन दिनों से पानी की किल्लत से परेशान चल रहे है। मजबूरन प्राकृतिक स्रोतों से ढोना पड़ रहा है पानी। जिसके चलते ग्रामीणों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है और ग्रामीणों के रोजमर्रा के कार्य भी बाधित हो रहे हैं इस मामले में जानकारी देते हुए ग्रामीण विनोद परिहार ने बताया कि प्राकृतिक स्रोतों से पानी लाने में काफी समय लग जाता है जिससे हमारे अन्य कार्य बाधित हो रहे हैं। बता दे कि
परांदा पंपिंग योजना से गांव खोबरा, थनूर, बोरगांव सहित 12 गांव जुड़े हैं जिनकी आबादी लगभग दो हजार है। लेकिन इसके बावजूद भी जल संस्थान कोटद्वार के सुस्त रवैये के कारण इन गांव में पानी संचालित नहीं किया जा रहा है। इस पर ग्रामीणों का कहना है कि अगर जल्द पानी संचालित नहीं किया गया तो ग्रामीण आंदोलन करने को बाध्य होंगे।
इनसेट
पानी के टैंकों से नए कनेक्शन जोड़े जा रहे हैं जिसके चलते पानी के पाइपों में वेल्डिंग का कार्य चल रहा है जल्द ही पानी संचालित कर दिया जाएगा।
शूरवीर सिंह चौहान (जेई जल संस्थान कोटद्वार)
